जानते हैं आप कि हम आपसे बेशुमार प्यार करते हैं सूरज भी आप हैं और चाँद भी नींद भी आप हैं और ख़्वाब भी रंग भी आप हैं और रौशनी भी सफ़र भी आप हैं और मंज़िल भी ख़ता हुई हमसे जो आपका दिल दुखाया बेवजह दिल टूटा हुआ है हमारा भी और बिखरे हुए हैं आप भी आइये इन गिले शिकवों को मिटाते हैं एक दूसरे की दवा बन जाते हैं – एकता खान एकता खान जी की कविता एकता खान जी की रचनाएँ [simple-author-box] अगर आपको यह रचना पसंद आयी हो तो इसे शेयर करें
जानते हैं आप कि हम आपसे
जानते हैं आप कि हम आपसे
बेशुमार प्यार करते हैं
सूरज भी आप हैं और चाँद भी
नींद भी आप हैं और ख़्वाब भी
रंग भी आप हैं और रौशनी भी
सफ़र भी आप हैं और मंज़िल भी
ख़ता हुई हमसे जो आपका
दिल दुखाया बेवजह
दिल टूटा हुआ है हमारा भी
और बिखरे हुए हैं आप भी
आइये इन गिले शिकवों को मिटाते हैं
एक दूसरे की दवा बन जाते हैं
– एकता खान
एकता खान जी की कविता
एकता खान जी की रचनाएँ
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